हरियाणा में कांग्रेस कर रही एकजुटता का ढोंग, हुड्डा खेमा नहीं पहुंचा तंवर की बैठक में
हरियाणा कांग्रेस की आपसी फूट के कारण लगातार कमजोर होता जा रहा है विपक्ष.
26 मार्च 2019
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नया हरियाणा
लोकसभा चुनाव से ठीक पहले कांग्रेस के सभी बड़े नेता पार्टी में गुटबाजी से इनकार कर रहे हैं और एक होकर चुनाव लड़ने की बात कर रहे हैं. जबकि जमीनी हकीकत कुछ और ही है. परिवर्तन बस यात्रा की तैयारियों को लेकर अध्यक्ष अशोक तंवर की ओर से जो बैठक बुलाई गई थीे उसका हुड्डा पक्ष के नेताओं व कार्यकर्ताओं ने घोषित तौर पर बहिष्कार किया. बैठक में केवल तंवर गुट के नेता ही पहुंचे.
देखना दिलचस्प होगा कि जो अपनी पार्टी को केवल भाषणों और वक्तव्यों में ही एकजुट होने की बात करते है और असल में एक-दूसरे को देखना भी पसन्द नहीं करते, वह प्रदेश की बागडोर क्या संभाल पाएंगे. हालांकि अशोक तंवर ने इसे इग्नोर करते हुए कहा कि यह यात्रा भाजपा के ताबूत में असली और मजबूत कील का काम करेगी. किंतु यह कील कही तंवर के पांव में ही न चुभ जाये, इसके लिए उन्हें सावधान रहना होगा.
टिकट वितरण को लेकर तंवर ने कहा कि इस समय दूसरी पार्टी छोड़कर कांग्रेस में आने वालों को लोकसभा चुनाव में टिकट के लिए मौका दिया जा सकता है. दावेदार का कांग्रेस का सदस्य होना जरूरी है, लेकिन इस क्रम में पुराने वफादार कार्यकर्ताओं की अनदेखी नहीं की जाएगी. तंवर ने ये भी कहा कि जिताऊ उम्मीदवार को ही टिकट दी जाएगी और कांग्रेस कार्यकर्ता राहुल गांधी को सभी 10 लोकसभा सीटों का तोहफा देंगे.